किसानों की समस्या को ध्यान में रखकर करें अनुसंधान : प्रोफेसर समर सिंह

एचएयू कुलपति ने विश्वविद्यालय के अनुसंधान क्षेत्र का किया दौरा
हिसार : 12 सितम्बर
चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर समर सिंह ने शनिवार को विश्वविद्यालय के कपास व दलहन अनुभागों का दौरा कर फसल की मौजूदा स्थिति और अनुसंधान कार्यों का जायजा लिया। गौरतलब है कि वर्तमान में प्रदेश के कई इलाकों में किसानों की नरमा कपास की फसल को नुकसान हुआ है। किसानों की इसी समस्या को ध्यान में रखते हुए विश्वविद्यालय के कुलपति ने विश्वविद्यालय के कपास अनुभाग में बोई गई कपास की विभिन्न किस्मों की फसल का जायजा लिया और वैज्ञानिकों से विचार-विमर्श किया। उन्होंने कपास अनुभाग के वैज्ञानिकों से बातचीत करते हुए कहा कि किसान व कृषि वैज्ञानिक एक सिक्के के दो पहलू हैं। हमारे विश्वविद्यालय का मुख्य उद्देश्य किसानों के लिए फसलों की नई-नई किस्में विकसित करना और आधुनिक तकनीकें प्रदान करना है ताकि किसान की पैदावार में निरंतर बढ़ोतरी हो। उन्होंने वैज्ञानिकों द्वारा इस क्षेत्र में किए जा रहे शोध कार्यों की सराहना करते हुए कहा कि वे किसानों की मौजूदा समस्याओं को ध्यान में रखकर शोध कार्य करें।
सफेद मक्खी के प्रकोप के बावजूद आर्थिक नुकसान नहीं
वैज्ञानिकों ने बताया कि विश्वविद्यालय के कपास अनुभाग में बोई गई नरमा की फसल पर सफेद मक्खी व अन्य बीमारियों का प्रकोप होने के बावजूद फसल में आर्थिक नुकसान नहीं है। यह सब कपास में उचित समय पर बिजाई व समन्वित कृषि प्रबंधन का ही नतीजा है। विश्वविद्यालय के अनुसंधान फार्म में बोई गई नरमा की फसल में सिफारिश किए गए कीटनाशकों का ही प्रयोग किया गया है। कुलपति ने कपास अनुभाग में सूक्ष्म सिंचाई तकनीक द्वारा बोई गई कपास की किस्मों का भी जायजा लिया और कहा कि इस तकनीक को इस प्रकार से विकसित करें ताकि पानी, खाद व अन्य पोषक तत्व भी पौधे को जरूरत के अनुसार मिल सकें। इससे पानी की बचत व पोषक तत्वों का पौधे द्वारा उचित उपयोग हो सकेगा। अनुसंधान निदेशक डॉ. एस.के. सहरावत ने बताया कि कपास की फसल में जड़ गलन बीमारी का प्रकोप बढ़ रहा है और इसके समाधान के लिए विश्वविद्यालय के वैज्ञानिक हरसंभव प्रयासरत हैं और उनकी शोध जारी है। जल्द ही सकारात्मक परिणाम आने वाले हैं। इस दौरान दलहन अनुभाग के अनुसंधान क्षेत्र का दौरा कर मूंग, उड़द व अन्य दलहनी फसलों को लेकर  चल रहे शोध कार्यों का जायजा लिया।
किसान भी सिफारिश किए गए रसायनों का ही प्रयोग करें
कुलपति ने कहा कि किसान अपनी फसलों पर विश्वविद्यालय के कृषि वैज्ञानिकों द्वारा सिफारिश किए गए कीटनाशकों का ही प्रयोग करें। किसी के बहकावे में आकर या एक-दूसरे की होड़ करते हुए फसल पर कीटनाशकों का छिडक़ाव न करें। विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर समर सिंह के दौरे के अवसर पर आनुवांशिकी एवं पौध प्रजनन विभाग के अध्यक्ष डॉ. ए.के. छाबड़ा सहित संबंधित अनुभागों के वैज्ञानिक मौजूद थे।
फोटो कैप्शन : विश्वविद्यालय के नरमा कपास के खेतों के दौरे के दौरान कृषि वैज्ञानिकों से बातचीत करते विश्वविद्यालय के कुलपति प्रोफेसर समर सिंह व उपस्थित विश्वविद्यालय के अनुसंधान निदेशक डॉ. एस.के. सहरावत व अन्य।